करीब 20 साल से खुफिया एजेंसियों की पकड़ से दूर रहे कुख्यात गैंगस्टर रवि पुजारी को खुद उसके ही लोगों ने पैसे के लालच में पकड़वा दिया। कर्नाटक के उडुपी में जन्मे रवि पुजारी के साथ बुर्किना फासो में रहने वाले एक व्यक्ति ने पुलिस से संपर्क किया और उसकी सटीक लोकेशन दे दी। इसके बाद पुलिस सक्रिय हुई और उसने रवि पुजारी के खिलाफ शिकंजा कसना शुरू कर दिया। सूत्रों के अनुसार रवि पुजारी की जानकारी देने वाले व्यक्ति ने अफ्रीकी देश बुर्किना फासो के जिस होटल में रवि पुजारी रह रहा था, उसकी तस्वीर साथ-साथ अन्य जरूरी जानकारियां पुलिस के साथ साझा कीं। एडीजीपी (कानून व्यवस्था) अमर कुमार पांडे और एसीपी वेंकटेश प्रसन्ना को रवि पुजारी के बारे में यह पहली विश्वसनीय सूचना मिली। इन दोनों अधिकारियों ने हत्या, वसूली जैसे कई मामले दर्ज होने के बाद जून 2018 में रवि पुजारी के खिलाफ जांच शुरू की लेकिन कोई सफलता नहीं मिली।
उन्होंने बताया कि किसी को यह नहीं पता था कि रवि पुजारी कहां छिपा हुआ है। जांच के दौरान अमर कुमार पांडे और प्रसन्ना को यह जानकारी मिली कि पुजारी को वर्ष 1992 में पहली बार चोरी के मामले में मुंबई में पकड़ा गया था। सूत्र ने कहा इस बीच उन्हें एक खबरी मिल गया जो काफी समझाने पर मान गया। उसने पुलिस की बात पुजारी के साथ रह रहे एक व्यक्ति से कराई जो पैसे के बदले सूचना देने पर सहमत हो गया। खबरी ने पुलिस को बताया कि रवि पुजारी बुर्किना फासो में रह रहा है और एक होटल चला रहा है। इसी दौरान पुलिस को एक अन्य खबरी मिल गया। उसने बताया कि रवि पुजारी नाम का कोई व्यक्ति बुर्किना फासो में नहीं रहता है। हालांकि एक व्यक्ति है जिसका नाम फर्नाडिज है। अधिकारियों को फर्नांडिज के नाम के पासपोर्ट की तलाश करने में एक महीना लग गया। एक खबरी ने रवि पुजारी के क्रिकेट मैच में पुरस्कार बांटने की फोटो को पुलिस को मुहैया कराया।
इसी फोटो में एक खिलाड़ी की टी शर्ट पर 'क्रिकेटर्स क्लब सेनेगल' लिखा था। पांडे और प्रसन्ना को भरोसा हो गया कि पुजारी सेनेगल में छिपा हुआ है और उन्होंने इसके बारे में केंद्रीय एजेंसियों को सूचना दी। जल्द ही उसे अफ्रीकी देश सेनेगल से अरेस्ट कर लिया गया। बता दें कि अंडरवर्ल्ड गैंगस्टर रवि पुजारी को सेनेगल से गिरफ्तार करके बेंगलुरु लाया गया है। तीन दशक तक पुलिस से छिपते-छिपाते रवि पुजारी दुनिया के कई देशों से धंधा चलाता रहा। पिछले साल 19 जनवरी को सेनेगल पुलिस ने उसे उस समय गिरफ्तार कर लिया जब वह बाल कलर कराने सैलून जा रहा था। इसके बाद वहां के सुप्रीम कोर्ट के आदेश के बाद रवि पुजारी को प्रत्यर्पित कर कर्नाटक पुलिस को सौंप दिया गया। कर्नाटक पुलिस ने बताया कि रवि पुजारी 1994 में भारत छोड़कर भाग गया था और इस दौरान वह पांच देशों में चार बार नाम बदलकर रहा।
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